वह आण्विक अथवा आयनिक स्पीशीज जो संकर यौगिक में केन्द्रीय धातु परमाणु अथवा आयन से स्थायी रूप से जुड़ी होती है, लिगेण्ड कहलाती है। उदाहरणार्थ– K4[Fe(CN)6] में CN– आयन लिगेण्ड है क्योंकि यह संकर में केन्द्रीय Fe2+ आयन से सीधे जुड़ा है। [Cu(NH3)4]2+ एक अन्य संकर आयन है जिसमें Cu2+ आयन चार NH3 लिगेण्ड से जुड़ा हुआ है।